Fighting Pandemic : Lets learn from each other

Dear friends.

We saw a sudden spurt in the number of infected cases yesterday. The rise in the number of cases from Maharashtra, Delhi and MP is a matter of concern. Almost for the last 15 days the trend is similar, and it has not been reversed. There is therefore, now, a need for greater monitoring, as also strict adherence to lockdown guidelines in these states. Let every citizen, every Institution and the administrative authority get involved and ensure that the trend gets reversed. हमने पूर्व में भी नामुमकिन  को मुमकिन बनाया है, और एक बार फिर,अपनी मेहनत, कर्त्तव्यपरायणता और स्वैच्छिक अनुशासन से इस गलत दिशा में बढ़ रहे रुझान को हम अवश्य बदल देंगे। सरफ़रोशी की तमन्ना अब हमारे दिल में है, देखना है ज़ोर कितना बाजुएं कातिल में है। हम सब मिलकर जो कोरोना के संकृमित मामलों में बढ़त आई है उसको रोकने में जरुर सफल होंगे।


There have been reports of malpractices while distributing the rations to the poor and needy. I appreciate, that very strong action has been taken against the culprits  by the administrative authorities. I want to request everyone involved, that this is the biggest crime against humanity and you will never be pardoned for this. आप संतोष रखें, ईश्वर ने बहुत दिया है, इस तरह की बेइमानी करके आप कभी खुश नहीं रह पायेंगे।  'गज धन गोधन बाजधन ओर रतन धन खान, जब आये सन्तोष धन सब धन धूरि समान'। संतोष रखें और खुश रहें।


Our Hon'ble PM's message today to the people is extremely relevant. उन्होंने ने हम सबको अपनी कार्य पद्धति और संस्कृति में पांच बिन्दुओं पर कार्यान्वित करने के लिए कहा है।  सरल और सहज व्यवहार, कुशल कार्यदक्षता, समावेशी प्रकृति, सार्वभौमिकता( एकता और भाईचारा) और  आखिर में इस चुनौती को अवसर में बदलने की कटिबद्धता को उन्होंने महत्वपूर्ण माना है। यह सब, एक रुप से देखा जाए तो जीवन का सत्व है। हमको अपने प्रधानमंत्री के इन 'ब्रह्म वाक्य 'को मूल मंत्र मानकर इस पर पूरी तरह से अमल करना है।


Some states like Kerala and Goa and the UT Ladakh have done exceedingly well in controlling the spread of Corona. Let's learn from their experience and implement them so that India is able to control the spread of Corona at the earliest. हम सब को मिलकर इसमें अपना योगदान देना है और इस यज्ञ में तन मन धन से अपनी आहुति देनी होगी।


I have been emphasising in all my earlier posts, that we should learn to treat all Indians as Indians, irrespective of caste, creed, colour, region, religion, language. Unfortunately, today again, an Article in a leading newspaper has hurt me a lot. The author has again analysed all the recent events including TJ on community lines  My humble request to all these very knowledgeable and intellectual journalist is to change this dirty narrative.This has already  done tremendous harm to the basic idea of India. Let's consider every incidence as committed by an Indians and not demean the country by analysing it on caste, creed, colour, region, religion,or language basis. India has  already suffered for more than seven decades because of this narrative, let's not suffer anymore. Even, the constitutional amendment in 1976 to include the word 'secular' in our preamble of the constitution is  definitely against the spirit of our constitution. संविधान के रचयिताऔ ने इस पर गंभीरता से विचार किया था।उन महापुरुषों का एकमत से मानना था, कि पंथनिरपेक्षता और धर्मनिरपेक्षता भारत की आत्मा में बसती है और यह हमारे संविधान की मूल भावना है, इसलिए इसकी अलग से व्याख्या करने की कोई जरूरत नहीं है। हमको, हर भारतीय को केवल भारतीय समक्ष कर, उसके प्रति कार्य व व्यवहार करना चाहिए। हम एक वर्ग विशेष को अलग रखकर उनके प्रति अपनी नीतियां बनायेंगे तो बहुत नुक्सान होगा।इस संदर्भ में अगर आप सशस्त्र सेनाओं( Armed Forces) को देखेंगे तो आप को भारतीयों को भारतीय के तौर पर व्यवहार करने का जो सकारात्मक परिणाम है, उसका पूरा अहसास हो जायेगा। मेरा इन बुद्धिजीवियों से विनम्र निवेदन है कि हम सब देशवासियों को केवल भारतीय समझें और हमको किसी और दृष्टिकोण से न देखें, और न ही वर्णित करे। यह देश के लिए आपका बहुत बड़ा योगदान होगा।


China is feeling the heat, both on account of lack of  transparency in passing of information related to Corona as well as trying to take undue advantage of the adverse situation of the world for his business gains ( vulture mentality). We need to be very cautious in dealing with China in future as the credibility, reliability and ethical dealings of this Nation definitely needs much to be desired.


भारत देशभक्तों का देश है, हर देश के सिपाही में त्याग, तपस्या और बलिदान का जज्बा कूट कूट कर भरा है। हमने सदैव एकजुट होकर देश के उपर आये हर संकट का सामना किया है। यहां देश पर मिटने वालों की संख्या अनगिनत है। यहां भगतसिंह,राजगुरु सुखदेव और चंद्र शेखर आजाद घर घर में बसते हैं। हम देश पर आई इस विपदा का पूरे समर्पण भाव से मिलकर सामना करेंगे।हम देश को अवश्य सफल बनायेंगे, भारत विजयी होगा। यह भारत हमको जान से भी प्यारा है हम इसकी रक्षा अपना सर्वस्व न्यौछावर कर के भी करेंगे। दिल दिया है जां भी देंगे ऐ वतन तेरे लिए। हम देश नहीं मिटने देंगे हम शीश नहीं झुकने देंगे। झंडा ऊंचा रहे हमारा विजयी विश्व तिरंगा प्यारा। यह हमारा संकल्प है। भारत विजयी होगा और विश्व में तुंग शिखर पर पंहुचेगा।


In the end, once again I thank and compliment all the Covid warriors who are leading from the front and putting their lives in the line of fire. शत् शत् नमन। हम आपकी इस कुर्बानी को कभी भूला न पायेंगे। आपकी देशप्रेम की इस भावना के आगे हम नतमस्तक हैं। जय हिन्द जय भारत जय हिन्द की सेना।हम होंगे कामयाब।

Vishnu Kant Chaturvedi